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भिंडी की खेती करने का सबसे आसान तरीका - Bhindi ki kheti kaise kare

  भारत में लगभग सभी राज्य में bhindi ki kheti की जाती है भिंडी बरसात और गर्मी में बोई जाने वाली सब्जी वर्गीय फसलों में आती है भिंडी का दूसरा नाम लेडीस फिंगर भी है और कुछ कुछ जगह पर  इसे "ओकरा" के नाम से भी जाना जाता है.


  आज  हम भिंडी की खेती कैसे करें (bhindi ki kheti kaise karen) उसी के बारे में जानेंगे,  सब्जियों में भिंडी को सबसे गुणकारी माना गया है और यह फसल की खेती किसानों के लिए इतनी फायदेमंद होती है जितने की फायदेमंद उसको खाने मैं होती है.  अगर आप भिंडी की खेती करने के बारे में सोच रहे हो तो आपको सही जलवायु के बारे में जानकारी होना आवश्यक होता है क्योंकि मौसम की जानकारी के बिना भिंडी की खेती करना नुकसान कारक भी हो सकता है.



भिंडी कौन से महीने में बोई जाती है?


भिंडी की फसल के लिए सबसे अच्छा वातावरण बारिश का मौसम और गर्म वातावरण माना जाता है हिंदी की अच्छी तरह से अंकुरण करने के लिए 27’c से 30’c तक का तापमान होना आवश्यक माना जाता है, अगर तापमान 27 से कम या फिर 30 से ज्यादा होता है तो भिंडी का अंकुरण अच्छी तरह से नहीं होता और फसल बिगड़ जाती है.


  ग्रीष्मकालीन भिंडी की बुवाई आप फरवरी और मार्च महीने में कर सकते हैं क्योंकि यह महीनों में तापमान  भिंडी की फसल के लिए अच्छा होता है और वर्षा ऋतु में भिंडी की बुवाई का समय जून और जुलाई को फायदेमंद माना जाता है यह महीनों में वातावरण भिंडी की फसल के लिए नम होता है, किसान भाई को यह ध्यान रखना अत्यंत आवश्यक है कि एक खेत में बार-बार एक ही पसंद ना  लगाएं.


भिंडी की सबसे अच्छी किस्म कौन सी है?


1. पूसा A4

2. पूसा भिंडी 5

3. वर्षा उपहार

4. अनामिका

5. परभणी क्रांति

6. पंजाब 7

7. पंजाब 8

8. सरिता

9. राधिका


⇾ पूसा भिंडी 5:-  यह बीज वर्षा के मौसम के लिए अति उत्तम माना जाता है यह भिंडी में वायरस रोग  नहीं आता है या फिर बहुत ही कम आता है.


⇾ वर्षा उपहार:- हिसार में निकाली गई होती है.


अनामिका:-  यह भी आपको बाजार में से आसानी से मिल सकती है यह बीज को बेंगलुरु से निकाली जाती है.


⇾ परभणी क्रांति:- यह बीच किसानों के बीच में काफी प्रचलित माना जाता है.


⇾ पंजाब 7 और पंजाब 8:- पंजाब एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी, लुधियाना से बनाई जाती है.


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भिंडी की कैसे के लिए खाद कब और कितना देना चाहिए?



भिंडी एक सब्जी वर्गीय फसल है तो आमतौर पर यह फसल में खाद्य इस्तेमाल ज्यादा नहीं करना चाहिए अगर आप जनवरी के महीने में बुवाई करते हैं तो आप की फसल का अंकुरण अच्छी तरह से नहीं हो पाता है तो ऐसी परिस्थिति में आपको खाद का उपयोग करना फायदेमंद हो सकता है


  भिंडी की बुवाई आप की फसल के 15 से 20 दिन के बाद लगभग आपकी की फसल दो से तीन पत्तों की हो जाती है तब आपको फसल के विकास के लिए यूरिया का उपयोग करना चाहिए आप यूरिया की मात्रा 15 से 20 किलो प्रति एकड़ के हिसाब से ले सकते हैं. अगर आप की फसल का विकास बिल्कुल ही नहीं होता है तो आप इसकी थोड़ी मात्रा बढ़ा भी सकते हैं और इसके साथ आप महाधन, एनपीके52, इफको कि सागरीकता और बायोवीटा को मिलाकर इस्तेमाल कर सकते हैं, जिससे आपको अच्छी फसल मिल सकती है. भिंडी की फसल में जैविक खाद का भी इस्तेमाल कर सकते हैं.


भिंडी की फसल में रोग और कीटों का नियंत्रण कैसे करें?

  भिंडी की फसल में पीला मोजेक वायरस की बीमारी ज्यादातर लग सकती है यह बीमारी को भिंडी की फसल का मुख्य रोग माना जाता है, यह बीमारी में भिंडी की फसल के पत्तों की शाखाएं पीली पड़ जाती है लेकिन यह बीमारी का ज्यादा प्रकोप होने पर पूरी पत्ती पीली हो जाती है जिससे आपकी पूरी फसल नष्ट हो सकती है, यह लोग गर्मी के मौसम और शुष्क मौसम में ज्यादा फैलता है, इस रोग के फैलने का मुख्य कारण सफेद मक्खी है.अगर आप यह रोग के फैलाव से आप की फसल को बचाना चाहते हो तो आप 15 लीटर पानी में 10 ग्राम Acetamiprid 20%SP या फिर 25 ग्राम Diafenthiuron 50% WP मिलाकर फसल पर छिड़काव कर सकते हैं.


भिंडी की फसल में powder mildew नाम की बीमारी भी हो सकती है, यह बीमारी शुष्क मौसम में ज्यादा फैलती है, यहां बीमारी में भिंडी के पत्तों की सतह पर सफेद रंग का पाउडर लगा रहता है, तो आप यह बीमारी के नियंत्रण के लिए 5 से 20 मिली Azoxystrobin 18.2% + Difenoconazole 11.4% SC को 15 लीटर पानी में मिलाकर इस्तेमाल करना चाहिए.


  भिंडी की फसल में ओकरा फ्रूट मोजैक  डिशेस नाम का रोग हो सकता है, यह रोग भिंडी के आकार को खराब करता है,  तो यह रोग के नियंत्रण के लिए आपको 10 ml Imidacloprid 17.8 SL को 15 लीटर पानी में मिलाकर इस्तेमाल कर सकते हैं.


घर पर गमले में भिंडी कैसे उगाए?


⇾ सबसे पहले एक गमला ले लीजिए.


⇾ मिट्टी के साथ-साथ Perlite ,Vermilite ,Coco peat को मिलाकर गमले में डालिए.


⇾ उसके बाद भिंडी के बीज लीजिए और गमले की मिट्टी में 1 इंच के आसपास खड्डे बना लीजिए, यह ध्यान जरूर रखी है की खड्डे ज्यादा गहरे ना  करें, उसके बाद बीज को अंदर उंगलियों की मदद से दबाएं और ऊपर मिट्टी ढक दीजिए और फिर बीज को पानी दीजिए.


⇾ लगभग 1 हफ्ते के अंदर जब पूजा निकलेगा तब पौधे के अच्छे विकास के लिए उसमें जैविक खाद डालें.


⇾ लगभग 40 से 45 दिन के अंदर जाती है.


भिंडी के पौधे की देखभाल कैसे करें?



1. भिंडी को गर्मी में हर रोज पानी डालिए और ध्यान रखिए कि पानी को ज्यादा तेज धार में नहीं बल की बौछार के रूप में करना होता है.


2. भिंडी के पौधे को सूर्य के प्रकाश की ज्यादा आवश्यकता होती है, तो हमेशा सूर्य प्रकाश मिलता रहे उसका ध्यान रखें.


3. भिंडी के बीज बोने के पहले खेत में अच्छी गुणवत्ता वाले जैविक खाद डालें.


4. जब भिंडी का पौधा 40 से 45 दिन पुराना हो जाए तब पौधे की आस पास की मिट्टी में एक मुट्ठी वर्माकंपोस्ट डालें जिससे भिंडी के पौधे को पोषण मिलता रहे.


5. हमेशा पौधे पर  किट/ फंगल या  अन्य संक्रमण की जांच करें और उसमें उचित दवाओं का स्प्रे करें. 


भिंडी के बीज का रेट क्या है?


⇛ Pusa A4 :- 458-1050

⇛ Bhindi US(F1 ):- 2750 / kg

⇛ Natural hybrid okra seeds:- 600/kg

⇛ Green a Grade Bhindi seeds :- 700/kg

⇛ Hybrid red okra seed :- 7000/kg

⇛ Natural okra seeds :- 850/kg

⇛ Ivanka Hybrid bhindi seeds :- 2500/kg


FAQ


Q1 - भिंडी कब लगाना चाहिए?

A - ग्रीष्मकालीन भिंडी की बुवाई फरवरी-मार्च में तथा वर्षाकालीन भिंडी की बुवाई जून-जुलाई में


Q2 - भिंडी कितने दिन में तैयार होता है?

A - 60-70 दिनों में